समुद्र किनारे से सूर्यास्त देखकर एक शेर याद आ रहा है, शायद मीना कुमारी का लिखा हुआ है-
ढूंढ़ते रह जाएंगे, साहिल पे कदमों के निशां,
रात के गहरे समंदर में उतर जाएगी शाम।
आज के लिए इतना ही।
नमस्कार।
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