क्यों मेरे शेर हैं मक़बूल!

मुझसे करते हैं “क़तील” इसलिये कुछ लोग हसद,
क्यों मेरे शेर हैं मक़बूल हसीनाओं में|

क़तील शिफ़ाई

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