
हँसना चाहूँ भी तो हँसने नहीं देता मुझको,
ऐसा लगता है कोई मुझसे ख़फ़ा है मुझमें|
राजेश रेड्डी
आसमान धुनिए के छप्पर सा
हँसना चाहूँ भी तो हँसने नहीं देता मुझको,
ऐसा लगता है कोई मुझसे ख़फ़ा है मुझमें|
राजेश रेड्डी